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बीबीसी टाइम्स इन उज्जैन 3 दिसंबर 2022

विनोद मिल परिसर के रहवासियो ने लगाये शिवराज मामा पर वादाखिलाफी के आरोप
उज्जैन। शनिवार को जिला प्रशासन द्वारा विनोद मिल परिसर के 160 मकानो को खाली करवाने की कार्यवाही को अंजाम दिया गया। शनिवार अलसुबह ही जिला प्रशासन का दल अपने लाव लश्कर के साथ मुस्तैदी के साथ विनोद मिल परिसर की तकरीबन 44 एकड़ जमीन पर बने 160 मकानो को ढहाने पहुचा। हालाकि इसकी सूचना रात्री मे ही मुनादी करके दी जा चुकी थी लेकीन स्थानीय रहवासियो को किसी भी प्रकार का आश्वासन न मिलने के कारण अजीबोगरीब स्थिति निर्मित हो रही थी और स्थानीय रहवासी भी अपने आशियानो को छोड़कर अन्यत्र कही ओर जाने को तैयार नही थे लेकीन जिला प्रशासन के अधिकारियो द्वारा रहवासियो को प्रधानमंत्री आवास योजना के मकानो और सुरासा एवं महाकाल एवेन्यू मे विस्थापित करने के आश्वासन के बाद रहवासियो द्वारा स्वयं ही अपने सामनो को बाहर निकाला जाने लगा।इसके पहले सुबह मे रहवासियो द्वारा कार्यवाही का कठोर विरोध भी किया गया था लेकीन पुलिस प्रशासन की सख्ती के बाद रहवासियो द्वारा स्वयं ही अपने आशियानो को खाली किया जाने लगा।
आसू छलक पड़े
जेसीबी द्वारा जब रहवासियो के आशियानो को ढहाया जा रहा था तभी महिलाओ एवं बुजुर्गो की आखो मे आँसु आ गए। 60 साल तक वहा समय बिता चुके लोग अपने पुराने पलो को याद कर फ़ूट- फ़ूट कर रो पड़े क्यो की महंगाई के जमाने मे अपने घर से बेदखल होने का दर्द उन्हे अन्दर ही अन्दर सताये जा रहा था।
विनोद मिल की जमीन करीब 525 करोड़ रुपये की है। इस जमीन के खरीदार जमीन पर कालोनी माल या मार्केट बनाए जितनी भी अनुमति की आवश्यकता होगी, शासन जमीन के खरीदार को जमीन खाली करवाकर देंगे। इसी कड़ी में आगर रोड से हीरामिल को जोड़ती एक फोरलेन सड़क बनाई भी जा चुकी है।

सुप्रीम कोर्ट तक पहुंचा था मामला
करीब 26 वर्ष पहले बंद हुई बिनोद मिल के मजदूरों ने अपना बकाया वेतन, ग्रेच्युटी आदि का पैसा पाने के लिए कोर्ट में याचिका दायर कर दी थी। 27 फरवरी 2019 को सुप्रीम कोर्ट ने मिल मजदूरों के हक में फैसला सुनाया था। फैसले में बकाया राशि का भुगतान 4 फीसद ब्याज के साथ करें। शासन को मिल की 18.018 हेक्टेयर (44.523 एकड़) जमीन का आधिपत्य भी सौंपा गया था। विनोद मिल के श्रमिकों को बकाया राशि देने के बाद बीते कई दिनों से यहाँ रहने वाले 160 परिवारों को घर खाली करने का नोटिस दे चुके थे। शुक्रवार को प्रशासन ने अंतिम अनाउसमेंट करवाकर शनिवार से घर खाली करवाना शुरू कर दिया। परिवार वालों द्वारा लगातार विरोध को देखते हुए सुबह से ही भारी पुलिस बल के साथ एडीएम संतोष टैगोर,एसडीएम संजय साहू , कल्याणी पांडे सहित आला अधिकारी मौजूद रहे।

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